सोशल मीडिया पर फजीहत के बाद टूटी पुलिस की नींद, प्रहलाद नगर में तीन साधुओं की पिटाई का वीडियाे सोशल मीडिया पर वायरल होने के बाद ही पुलिस की नींद टूटी। आनन-फानन में रविवार को मारपीट के तीन आरोपियों को हिरासत में ले लिया। लिसाड़ी गेट क्षेत्र के प्रह्लादनगर में शुक्रवार को लोगों ने तीन साधुओं को पकड़ लिया। तीनों की डंडे से बुरी तरह पिटाई की। फर्जी साधु बनकर हिंदू समाज को बदनाम करने का आरोप लगाते हुए पुलिस को सौंप दिया। लिसाड़ी गेट पुलिस को तीनों युवकों ने अपने नाम गौरव, गोपी और सुनील निवासी हरियाणा के यमुनानगर के दरवामाजिरी गांव से बताया। पुलिस ने गांव के प्रधान से बात की तो तीनों युवकों की बात सही निकली। जिसके बाद साधुओं को पुलिस ने छोड़ दिया था। शुक्रवार की घटना रविवार को जब मीडिया की सुर्खियां बनीं और पुलिस के बड़े अफसरों ने फटकार लगायी तब कही जाकर लिसाड़ीगेट पुलिस को डयूटी करने का ख्याल आया और तीन को हिरासत मे ले लिया। सूत्रों ने जानकारी दी है कि ये तीनों वही हैं जो मारपीट के बाद साधुओं काे लेकर खुद थाना लिसाड़ीगेट पहुंचे थे। तब पुलिस ने इन्हें छुआ भी नहीं। मामले में कार्रवाई के बजाए लिसाड़ीगेट पुलिस ने पूरा ध्यान इस मामले को दफन करने पर दिया। जानकारों का कहना है कि यदि शुक्रवार को ही इस मामले में कार्रवाई की गई होती तो शायद इस फजीहत से बचा जा सकता था और किरकिरी भी ना होती। लिसाड़ीगेट पुलिस ने कार्रवाई तो की मगर अफसरों की फटकार के बाद।
उल्लेखनीय है कि शुक्रवार को
नाथ समुदाय के तीन साधुओं को फर्जी और संदिग्ध बताकर पिटाई किए जाने का मामला सोशल मीडिया पर वायरल हुआ तो पुलिस की नींद खुल गई। पिटाई की घटना से इनकार करने वाली पुलिस का झूठ सामने आए वीडियो से उजागर हो गया। रविवार को पुलिस ने इस मामले में तीन युवकों को पकड़ लिया है, उनसे पूछताछ की जा रही है। साधुओं की डंडे से पिटाई का वीडियो वायरल होने के बाद भी पुलिस में आरोपियों पर कोई कार्रवाई नहीं की थी। पुलिस का कहना था कि डंडा दिखाकर डराया गया है मारपीट नहीं की गई। पिटाई की वीडियो वायरल होने के बाद पुलिस बैकफुट पर आई।