मेरठ में हथियारों की दुकानों पर ताले की नौबत, मेरठ में स्थानीय प्रशासन के एक फरमान के चलते पीएल शर्मा रोड स्थित सौ-सौ साल पुरानी शस्त्रों की दुकानों पर ताले लटकने की नौबत आ गयी है। तीन दुकानें इनमें से बंद भी हो चुकी हैं। हैरानी तो इस बात की है कि सिस्टम चलाने वाले अफसरों ने शस्त्र लाइसेंसों को लेकर कमिश्नरी में जनपदों में अलग-अलग कानून बना डाले हैं। मेरठ में जिस चीज को बेचने पर पावंदी है, जनपद हापुड़ में उसकी खुली बिक्री की अनुमति दे दी गयी है। इसी प्रकार की तमाम खामियां शस्त्र विक्रेताओं के लिए मुसीबत बनी हुई हैं। पूरे जनपद में करीब दो दर्जन शस्त्र विक्रेताओं की दुकानें हैं। इनमें से 16 दुकानें पीएल शर्मा रोड पर पर हैं।
17 मई 2022 को फरमान
पीएल शर्मा रोड पर सिंह आर्म्स के नाम से प्रतिष्ठान चलाने वाले अंकुर ने बताया कि 17 मई को स्थानीय अधिकारियों ने एक कागज भेजकर सीओ की परमिशन के बगैर कारटेज बेचने पर रोक लगा दी। रोक के ये आदेश मेरठ, सहारनपुर, गाजियाबाद, बागपत, नोएडा, शामली आदि जनपदों के लिए हैं, हापुड़ को इससे मुक्त रखा गया है। इसके अलावा लखनऊ, बनारस, गोरखपुर सरीखे यूपी के तमाम जिलों में इस प्रकार की कोई पावंदी नहीं है। इसका नुकसान यह हुआ कि पीएल शर्मा रोड समेत मेरठ के तमाम शस्त्र विक्रेताओं का कामधंधा चौपट हो गया है। परमिशन मांगने वालों को पुलिस इतने चक्कर कटाती है कि वो कारटेज खरीदने का इरादा ही टाल देता है। इसी के अब रिटेल की बिक्री पूरी तरह से खत्म हो गई है। नौबत यहां तक आ गयी है कि जमा में से खर्च कर दुकान चलानी पड़ रही है। पीएल शर्मा रोड की शस्त्र की तीन दुकानें विकास गन हाउस, शिवा शस्त्रागार व विजय सिंह एंड संस बंद भी हो चुकी हैं। हालांकि उनके कुछ अन्य कारण भी रहे। इसके अलावा बागपत जनपद में भी जितनी दुकानें कारटेज बिक्री करने वाली थीं वो भी बंद हो चुकी हैं। आदेश में कहा गया है कि शस्त्र बेचने के बाद दूसरी बार यदि कोई कारटेज खरीदने आता है तो उसको कारटेज तभी दिया जाए तब सीओ की परमिशन हो। पीएल शर्मा रोड के शस्त्र विक्रेताओं ने बताया कि 17 मई 2022 के फरमान के आने के बाद केवल कारटेज की बिक्री शून्य नहीं हुई, बल्कि कारटेज के साथ जो शस्त्रों से संबंधित अन्य ऐसेसरीज होती थीं वो भी अब बिकनी बंद हो गयी हैं। 17 मई 2022 को जो आदेश है पड़ौस के जनपद हापुड़ को उससे मुक्त रखा गया है, इसके चलते पीएल शर्मा रोड पर जितने भी लाइसेंस धारक खरीदारी के लिए आते थे वो अब हापुड़ से कारटेज व अन्य सामान खरीदते हैं।
वर्जन
ताकि रखी जा सके बिक्री पर नजर
सिटी मजिस्ट्रेट अनिल कुमार ने बताया कि कारटेज की बिक्री पर नजर रखने के लिए ही इस आश्य के आदेश जारी किए गए हैं। हापुड़ को लेकर जो बताया गया है उसकी जांच कराई जाएगी।