भव्य मांडले पर चढाए 1024 अर्घ्य, आषाढ़ मास के अष्टाह्निका पर्व के दौरान मेरठ के सदर दुर्गाबाड़ी स्थित श्री 1008 भगवान पार्श्वनाथ दिगंबर जैन पंचायती
मंदिर चल रहे मंगलकारी श्री सिद्धचक्र महामंडल विधान के आठवें दिन भव्य मांडले पर भक्तों ने चढाए 1024 अर्घ्य।
बुधवार आज की शांतिधारा के पुण्यार्जक विकास जैन व सुनील जैन रहे। इसके पश्चात ब्रह्मचारिणी स्वीटी दीदी के मंगल सानिध्य और मधुर स्वर में सभी भक्तों ने सबसे पहले देव शास्त्र गुरु पूजा , नंदीश्वर द्वीप पूजा, सिद्धचक्र विधान के अष्टम वलय की पूजा की। इसके बाद मांडले पर सभी पुरूष एवं महिला भक्तों ने क्रमशः अर्घ्य समर्पित किए। आज चूंकि विधान का समापन भारत हुआ तो विधान के पश्चात सरस्वती पूजन हुआ और पुष्पों द्वारा हवन किया गया। विधान के सफल आयोजन के लिए मंदिर कमेटी ने आयोजक गणों विनोद जैन, श्यामा जी और मनीष जैन को तिलक लगाकर पटका पहनाकर सम्मान किया। इस मंगलकारी विधान को मनोहारी रूप से संपन्न कराने में अभूतपूर्व योगदान देने वाली ब्रह्मचारिणी स्वीटी दीदी का भी उपहार देकर सम्मान किया गया। विधान के समापन पर विधान मे सम्मिलित श्रावक श्रावकियों को प्रभावना वितरण हुआ। सचिन, मनीष, आराध्य, मीनू, सोनिया, निकुंज, मृदुल आदि उपस्थित रहे।
मेरठ जैन समाज के मीडिया सेतू विनेश जैन सदर ने बताया कि अंतिम दिन का आयोजन बेहद भव्य रहा। बुधवार तडके से ही इसकी तैयारियां शुरू कर दी गयीं थी। परंपरागत उत्साह व उल्लास के साथ जैन समाज के तमाम स्त्री पुरूष व बच्चे भक्ति भाव व श्रद्धा के साथ मेरठ के सदर दुर्गाबाडी स्थित श्री 1008 भगवान पार्श्वनाथ दिगंबर जैन पंचायती मंदिर पहुंचे थे। चारों ओर भक्त व श्रद्धा का उत्सव रहा। उन्होंने बताया कि यह आयोजन बहुत ही सफल और शानदार रहा। इसमें सभी ने हिस्सा लिया। जैन समाज सदर के लिए इसका महत्व बहुत ज्यादा है। उन्होंने बताया कि समाज की ओर से तमाम आयोजकों को शानदार आयोजन के लिए धन्यवाद भी ज्ञापित किया गया हे। आयोजकों ने भी शानदार व सफल आयोजन के लिए सदर के समस्त जैन समाज का आभार जताया है।