भ्रष्टाचार का बैरियर-करें तो करें क्या, -आन लाइन एप्लाइन करने के बाद भी नहीं मिल रहा कनेक्शन–माधवपुरम के अवर अभियंता पर लगाए डिमांड न पूरी करने पर अडंगा डालने के आरोप- मेरठ। केंद्र व प्रदेश की सरकार की स्टार्टअप योजना में कुछ अफसर ही बैरियर साबित हो रहे हैं। मामला माधवपुरम निवासी कारोबारी जरीफ अहमद से जुड़ा है। बकौल जरीफ अहमद उन्होंने करीब एक माह पहले एक छोटी से इंडस्ट्रीज लगाने के लिए पीवीवीएनएल में आन लाइन एप्लाई किया था। उन्हें पांच केबीए के कनेक्शन की जरूरत है। इसका एस्टिमेंट बनाने के लिए जब उन्होंने माधवपुरम इलाके के अवर अभियंता सुनील से मुलाकात की तो उन्होंने चक्कर कटाना शुरू दिया। जरीफ अहमद ने अवर अभियंता पर पांच हजार रुपए बतौर रिश्वत मांगे जाने के आरोप लगाए। जब उन्होंने इसमें असमर्थता व्यक्त की तो उनका काम अटका दिया गया। जरीफ अहमद ने बताया कि जब वह धक्के खाते-खाते थक गए तो किसी ने उन्हें उद्योग व्यापार प्रतिनिधि मंडल उत्तर प्रदेश के प्रदेश अध्यक्ष लोकेश अग्रवाल का पता दे दिया। वह उद्योग व्यापार प्रतिनिधि मंडल के न्यू मोहनपुरी स्थित कार्यालय पर पहुंच गए और पूरा मामला बताया। उसके बाद इस मामले की शिकायत अधीशासी अभियंता पंचम मनोज अग्रवाल से की गयी। कारोबारी ने आरोप लगाया कि इसके बाद भी आज तक कोई कार्रवाई उनके मामले में नहीं की गयी। उन्होंने बताया कि वह चाहते हैं कि उनको शीघ्र से शीघ्र कनेक्शन दिलाया जाए। वहीं दूसरी ओर लोकेश अग्रवाल ने बताया कि इसको लेकर वह शीघ्र ही पीवीवीएनएल चीफ इंजीनियर से मिलेंगे।
आरोप निराधार
इस संबंध में जब अधीशासी अभियंता पंचम मनोज अग्रवाल से बात की गयी तो उन्होंने अवर अभियंता द्वारा किसी प्रकार की डिमांड के आरोपों को एक सिरे से नकारते हुए कहा कि कोई भी आज कल आरोप लगा देता है। उन्होंने तर्क दिया कि सारा काम आॅन लाइन है। जहां तक जेई कीे बात है तो बगैर किसी कारण कनेक्शन का आवेदन रिजेक्ट किया ही नहीं जा सकता