नाम के एलान से तय होगा भाजपा नेताओं का कद, भाजपा के महानगर अध्यक्ष पद की दावेदारी व अपने चहेते को काविज करने की महत्वाकांक्षा के चलते मेरठ भाजपा खेमों में बंट गयी है और यह काम किसी अन्य नहीं बल्कि भाजपा के बड़े नेताओं द्वारा किया जा रहा है। भाजपा के महानगर अध्यक्ष को लेकर दावेदारों की यदि बात की जाए तो विवेक रस्तौगी, शहर विधानसभा सीट से चुनाव लड चुके कमलदत्त शर्मा, महेश बाली, महानगर संगठन में उपाध्यक्ष संजय त्रिपाठी, राहुल गुप्ता और इस कतार में नया नाम अब सुरेश जैन रितुराज का भी जुड़ गया है। रितुराज पहले भी महानगर अध्यक्ष का सफल दायित्व संभाल चुके हैं। इन तमाम दावेदारों की पैरवी भाजपा के बड़े नेताओं द्वारा की जा रही है। भाजपा के सूत्रों की मानें तो माह जुलाई के अंत तक मेरठ भाजपा के महानगर अध्यक्ष के नाम का एलान कर दिया जाना था लेकिन कुछ बड़े नेताओं द्वारा अपने-अपने करीबियों की पैरवी के चलते इस काम में देरी हुई और अब कहा जा रहा है कि संभवत भाजपा के जिलाध्यक्ष और महानगर अध्यक्षों की घोषणा 20 अगस्त तक हो सकती है। पश्चिम में मेरठ, सहारनपुर और मुरादाबाद मंडल के 14 जिलों में आधे से ज्यादा जिलाध्यक्ष-महानगर अध्यक्ष बदले जा सकते हैं। जनपद में भाजपा जाट, गुर्जर, ठाकुर और त्यागी समाज के अलावा पिछड़ा को भी प्रतिनिधित्व दे सकती है। महानगर में वैश्य या ब्राह्मण समाज पर दांव लगाया जा सकता है। मेरठ जनपद की बात करें तो यहां जिलाध्यक्ष पद पर विमल शर्मा को कॉपरेटिव सोसाइटी का चेयरमैन बनाया जा चुका है। ऐसे में अब पार्टी यहां ब्राह्मण की जगह दूसरे समाज को प्रतिनिधित्व दे सकती है। पार्टी जाट, गुर्जर, ठाकुर या त्यागी कार्ड खेल सकती है। क्षेत्रीय स्तर पर इसको लेकर मंथन हो चुका है, अब अंतिम मोहर प्रदेश अध्यक्ष भूपेंद्र चौधरी लगाएंगे। महानगर की बात करें तो पार्टी के पदाधिकारियों का कहना है कि पार्टी किसी वैश्य को ही घोषित कर सकती है। पहले 20 जुलाई तक जिलाध्यक्ष और क्षेत्रीय कार्यकारिणी के घोषित होने की बात थी लेकिन अब एक महीने बीतने के बाद भी कार्यकारिणी घोषित नहीं हुई है।