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सेवा में
श्रीमान
नई दिल्ली
विषय: मेरठ छावनी में सेना की सुरक्षा के लिए खतरा बनते जा रहे भूमाफियाओं को छावनी परिषद मेरठ कार्यालय तथा रक्षा संपदा अधिकारी कार्यालय के कुछ भ्रष्ट अफसरों के खुले संरक्षण की जांच के आग्रह के संबंध में
महोदय,
देश की राजधानी नई दिल्ली से कुछ ही मिनट की दूरी पर स्थित मेरठ छावनी देश की टॉप टेन दस प्राचीन छावनियों में से एक है। मेरठ छावनी में सेना की महत्वपूर्ण यूनिटें मौजूद हैं। इसलिए इसकी सुरक्षा भी अति महत्व का विषय है, लेकिन खेद के साथ अवगत कराना पड़ रहा है कि मेरठ छावनी में मौजूद सैन्य प्रतिष्ठानों को भविष्य में गंभीर खतरा होने की आशंका से इंकार नहीं किया जा सकता। ऐसा कहने के पीछे ठोस वजह मौजूद हैं। मेरठ छावनी में भारत सरकार के ओल्ड ग्रांट के बंगलों पर सीईओ मेरठ छावनी परिषद तथा डीईओ मेरठ कार्यालय के कुछ भ्रष्ट अफसरों के संरक्षण में फल-फूल रहे भूमाफियाओं की गिद्ध दृष्टि पड़ गयी है उसके चलते ही सैन्य प्रतिष्ठानों की सुरक्षा को लेकर सवाल उठाए जा रहे हैं। मेरठ छावनी में सक्रिय जय प्रकाश अग्रवाल निवासी बंगला नंबर-210-एवेस्ट एंड रोड मेरठ कैंट तथा आदतन अपराधी अनिल जैन जो हत्या के मामले में आरोपी है और इस संबंध में एक मुकदमा हाईकोर्ट इलाहाबाद में विचाराधीन हैं, निवासी बीआई लाइन बंगला नंबर-45 (उक्त दोनों बंगलों पर अवैध काविज इन भूमाफियाओं ने इन बंगलों में बड़ स्तर पर अवैध निर्माण कराए हैं और इन अवैध निर्माणों में सीईओ व डीईओ मेरठ कार्यालय का खुला संरक्षण हासिल है) तथा इनके जैसे कई अन्य भूमाफिया मेरठ छावनी क्षेत्र में भारत सरकार के तमाम ऐसे बंगलों को जो ओल्ड ग्रांट के हैं तथा ऐसे बंगलों को जिनकी लीज खत्म हो गई है तथा लीज खत्म होने के उपरांत जिन्हें मेरठ कैंट प्रशासन द्वारा देश व सैन्य हित में रिज्यूम कर लेना चाहिए, उन बंगलों को अवैध रूप से क्रय विक्रय कर वहां अवैध निर्माण करा रहे हैं। इन बंगलों में किए जाने वाले अवैध निर्माणों से बनाए जाने वाले दुकानों और फ्लैटों को ऊंची कीमत पर बेचा जा रहा है। ऐसा किए जाने से अफसरों से संरक्षण हासिल ये भूमाफिया भारत सरकार को भारी भरकम राजस्व की हानि पहुंचा रहे हैं। इनके इस कृत्य में मेरठ छावनी परिषद तथा रक्षा संपदा अधिकारी कार्यालय के कुछ भ्रष्ट अफसर भी शामिल हैं। श्रीमान जी से आग्रह है कि राष्ट्र हित में भूमाफियाओं व उनके मददगार अफसरों की जांच करायी जानी आवश्यक है।
श्रीमान जी से आग्रह है कि उक्त मामलों की जांच बजाए मेरठ स्थित रक्षा संपदा अधिकारी कार्यालय या फिर अधीशासी अभियंता छावनी परिषद के कार्यालय से जांच कराने के बजाए यदि मंत्रालय से किसी सीनियर अधिकारी को भेजकर गोपनीय जांच करायी जाए तो भूमाफियाओं द्वारा भारत सरकार को पहुंचाई जा रही राजस्व हानि तथा उनके मददगार अफसरों के कृत्यों को उजागर किया जा सकेगा।
श्रीमान जी यहां खेद का विषय है कि पूर्व में अनेकों बार मेरे द्वारा मेरठ छावनी में भूमाफियाओं व उनके मददगार मेरठ छावनी परिषद तथा रक्षा संपदा अधिकारी कार्यालय के अफसरों की कारगुजारियों की लिखित में शिकायत श्रीमान जी को प्रेषित की गयी, लेकिन मेरठ स्थित जिन अधिकारियों से जांच रिपोर्ट तलब की जा रही है उक्त सारे कृत्यों में उन तमाम अधिकारियों की भूमिका न केवल संदिग्ध है बल्कि उनकी भूमिका की जांच कराए जाने की भी नितांत आवश्यकता है।
श्रीमान जी से अत: आग्रह है कि राष्ट्र हित तथा मेरठ छावनी स्थित सैन्य प्रतिष्ठानों की सुरक्षा के मददे नजर इस विषय की जांच मंत्रालय स्तर के किसी अफसर को भेजकर गोपनीय तरीके से करायी जानी चाहिए।
राष्ट्र हित में निष्पक्ष जांच कराए जाने की प्रत्याशा में
भवदीय
शेखर शर्मा
पुत्र केके शर्मा
निवासी: जीएफ-19 अंसल कोर्टयार्ड-एनएच-58
कंकरखेड़ा बाईपास मेरठ उत्तर प्रदेश
संपर्क सूत्र: 9997539259