कैंट बोर्ड टीम बंधक-हाथापाई, मेरठ कैंट बोर्ड केे हथोड़ा गैंग की टीम को लालकुर्ती वार्ड दो भैय्या जी की कोठी में बंधकर बनाकर हाथापाई व गाली गलौच की गयी। मौके पर पहुंची पुलिस टीम ने मौके पर पहुंचकर किसी प्रकार बंधक बनाए गए कैंट बोर्ड कर्मियों को मुक्त कराया। पता चला है कि यह निर्माण कैंट बोर्ड के अकराम नाम के स्टाफ जिसकी डयूटी माल रोड से गाय भैंस हटाने की है, के किसी रिश्तेदार द्वारा किया जा रहा था। इस पूरे प्रकरण को लेकर कैंट बोर्ड के अफसरों की हीलाहवाली पर गंभीर सवाल खड़े किए जा रहे हैं। वहीं दूसरी ओर यह भी कहा जा रहा है कि छोटे मोटी घरेलू मरम्मत सरीखे कामों पर भी हथोड़ा गैंग भेजकर कैंट बोर्ड प्रशासन केवल माहौल खराब करने का काम कर रहा है। एक ओर पूरे कैंट में धन्ना सेठों के अवैध निर्माण और कब्जे खड़े हैं, वो अवैध निर्माण कैंट बोर्ड प्रशासन को नजर नहीं आ रहे हैं, लेकिन यदि कोई गरीब मरम्मत आदि कराने लगे तो उसके लिए हथोड़ा गैंग भेज दिया जाता है। इतना ही नहीं जो हथोड़ा गैंग भेजा जाता है, उसके साथ भी कैंट बोर्ड का कोई सक्षम अधिकारी नहीं होता, नियमानुसार बोर्ड के हथोड़ा गैंग को कितना तोड़ना है यह तय केवल सक्षम अधिकारी ही कर सकते हैं, लेकिन ऐसा किया नहीं जा रहा। सूत्रोकीमानेंतो इसकोलेकरसीईओ कैंट ने जेई से स्पष्टीकरण मांगा है।अवैध निर्माणों को लेकर रक्षा मंत्रालय के अफसर मेरठ कैंट बोर्ड से सख्त नाराज बताए जाते हैं, माना जा रहा है इस नाराजगी के चलते ही कैंट बोर्ड का हथोड़ा गैंग जगह-जगह घूम रहा है, लेकिन जो बड़े अवैध निर्माण हैं उस ओर जाने से कन्नी काटी जा रही है। केवल गरीब या मीडिल क्लास ही कैंट बोर्ड अफसरों के रडार पर हैं। कैंट बोर्ड के पूर्व उपाध्यक्ष सुनील वाधवा इसे उचित नहीं मानतें। उनका कहना है कि कैंट अफसरों को संयम से काम लेना चाहिए। यदि कोई छोटी मोटी मरम्मत का कार्य कर रहा है तो उस पर कैंट बोर्ड का हथोड़ा गैंग नहीं भेजा जाना चाहिए।