LLRM-कोरोना को लेकर मॉक ड्रिल, लाला लाजपत राय स्मारक मेडिकल कॉलेज मेरठ में मॉक ड्रिल के दौरान डमी मरीज भर्ती किया गया। साथ ही ऑक्सीजन और वेंटिलेटर के इंतजाम को भी जांचा गया। मॉक ड्रिल के दौरान पेशेंट भर्ती करने में रिस्पांस टाइम का आकलन सबसे महत्वपूर्ण रहा मेडिकल कॉलेज वेस्ट यूपी का एक बड़ा हेल्थ सेंटर है । कोरोना की पहली और दूसरी लहर तथा तीसरी लहर में मेरठ के इसी मेडिकल कॉलेज में हजारों पेशेंट भर्ती किए गए और ठीक भी हुए। लेकिन एक बार फिर देश पर कोरना वायरस का खतरा मंडरा रहा है ।जिसको लेकर खुद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अलर्ट जारी किया है ।साथ ही लोगों के स्वास्थ्य को ध्यान में रखते हुए और स्वास्थ्य महकमे की हकीकत जानने के लिए मॉकड्रिल किया गया है। मेडिकल के मीडिया प्रभारी डॉ वी डी पाण्डेय ने बताया कि डब्लू एच ओ की अधिकारी डॉ प्रिय बंसल ने मेरठ के लाला लाजपत राय मेडिकल कॉलेज का निरीक्षण किया मॉकड्रिल के दौरान 4 मिनट में पेशंट एंबुलेंस से निकालकर भर्ती कर लिया गया तथा ऑक्सिजन शुरू कर दिया गया एवम इलाज प्रारंभ कर दिया गया। सभी दवाएं उपलब्ध पायी गयीं एक दवा कम पायी गयी है जिसे क्रय करने के आदेश कर दिये गए हैं। 1000 एल पी एम क्षमता के दोनों ऑक्सीजन जनरेशन प्लांट, दोनो लिक्विड मेडिकल ऑक्सीजन प्लांट तथा ऑक्सिजन सिलेंडर प्लांट क्रियाशील पाये गये। डॉ धीरज राज ने बताया कि मेडिकल कॉलेज में 20 बेड आपातकालीन स्थित कोविड वार्ड में तैयार हैं सभी बेड पर ऑक्सीजन और 5 वेंटिलेटर की भी व्यवस्था की गई है। यदि कोविड के मरीजों की संख्या बढ़ती है तो सुपरस्पेशलिटी ब्लॉक के 200 बेड को कोविड अस्पताल में परिवर्तित कर दिया जाएगा। डॉ तरुण पाल ने बताया कि कोविड से संबंधित सभी टीम को भी अलर्ट कर दिया गया है। ताकि आपात स्थिति में किसी भी समस्या से निपटा जा सके। इस अवसर पर प्रमुख अधीक्षक डॉ धीरज राज, कोविड चिकित्सा अधीक्षक डॉ तरुण पाल, मीडिया प्रभारी डॉ वी डी पाण्डेय, नर्सिंग स्टाफ, कर्मचारी उपस्थित रहे।