गरीबों की आवाज बने भाजपा नेता वाधवा, मेरठ छावनी क्षेत्र मेंं जिन गरीब व समाज के कमजाेर वर्ग के लोग विशेषकर जिनको भाजपा के वोट बैंक में शुमार किया जाता है, ऐसे लोगों की आवाज जब उन पर संकट छाया तो कैंट बोर्ड के पूर्व उपाध्यक्ष व भाजपा के नेता सुनील वाधवा उनकी आवाज बनें। उनके लिए बगैर कुछ परवाह किए मैैदान में आ डटे। दरअसल हुआ यह कि कैंट बोर्ड प्रशासन ने छावनी क्षेत्र में रहने वाले समाज के कमजोर व गरीब तबके के लोगों को बड़ी संख्या में नोटिस देकर चेतावनी दी है कि यदि उन्होंने अपने कब्जे या निर्माण नहीं हटाए तो उन्हें न केवल जेसीबी मशीन से ध्वस्त कर दिया जाएगा, बल्कि ध्वस्तीकरण के दौरान जो भी सरकारी खर्चा होगा वह भी वसूल किया जाएगा। इस प्रकार के नोटिस बड़ी संख्या में लालकुर्ती क्षेत्र के गरीब परिवारों को भी भेजे गए हैं। मेरठ कैंट बोर्ड प्रशासन के इस प्रकार के नोटिसोें की मार में करीब पचास से ज्यादा परिवार आए बताए जाते हैं। कैंट बोर्ड के नोटिस थमाए जाने के बाद ये तमाम लोग मदद के लिए इधर उधर भागते रहे, जब कहीं भी कोई मदद नहीं मिली न ही कोई राहत या रियायत का भरोसा किसी से मिला तो थकहार कर भाजपा नेता सुनील वाधवा के दर पर जा पहुंचे और अपना दुखड़ा रोया। यहां से उन्हें निराशा नहीं मिली। सुनील वाधवा इनकी पैरवी को सीईओ कैंट ज्योति कुमार से मिलने पहुंचे, लेकिन मंगलवार को ज्योति कुमार के मेरठ में न होने की वजह से इस विषय पर भाजपा नेता वाधवा की सीईओ कैंट से कोई वार्ता नहीं हो सकी। कुछ लोग जिन्हें नोटिस दिए गए हैं वो भी सीईओ से फरियाद करने को कैंट बोर्ड पहुंचे थे, उन्हें भी वहां से निराश ही लौटना पड़ा। वहीं दूसरी ओर भाजपा नेता वाधवा का कहना है कि हमारे पार्टी देश की एक मात्र ऐसी पार्टी है जो समाज के कमजोर व गरीब वर्ग की लड़ाई लड़ती है। उनकी पार्टी गरीबों की मदद का काम करती है किसी को उजाने का नहीं।