
बाजार के लिए बड़ा खतरा, फटा तो बर्बाद हो जाएंगे निवेशक, दुनिया भर में ट्रिलियन डालर का निवेश
नई दिल्ली। जिस AI को लेकर तमाम एक्सपर्ट इतरा रहे थे। बाजार में AI का नया तूफान उठ खड़ा था उसी को लेकर तमाम एक्सपर्ट इतरा रहे थे। बाजार में AI का नया तूफान उठ खड़ा था उसी के बबल की मानिंद फूटने का खतरा मंडरा रहा है। मौजूदा दूर से कुछ वक्त पहले की बात करें तो नई दिल्ली। जिस AI को लेकर तमाम एक्सपर्ट इतरा रहे थे। बाजार में AI का नया तूफान उठ खड़ा था उसी यानि आर्टिफिशल इंटेलिजेंस में दुनिया भर में ट्रिलियन डालर का निवेश हो रहा था, जो निवेश की सलाह दे रहे हैं अब वो ही कह रहे है कि नई दिल्ली। जिस AI को लेकर तमाम एक्सपर्ट इतरा रहे थे। बाजार में AI का नया तूफान उठ खड़ा था उसी अब बबल बन चुका है, जो कभी भी फूट सकता है। विशेषज्ञ यह भी मान रहे हैं कि यदि वाकई नई दिल्ली। जिस AI को लेकर तमाम एक्सपर्ट इतरा रहे थे। बाजार में AI का नया तूफान उठ खड़ा था उसी बबल की मानिंद फूट गया तो करोड़ों निवेशकों की जिंदगी भर की कमाई डूब जाएगी।
इस वजह से जता रहे हैं आशंका
जिस AI को लेकर तमाम आशंकाएं जतायी जा रही हैं वो निराधार नहीं हैं, उनके पीछे ठोस वजह हैं। इनमें से कुछ प्रमुख हैं उनमें ओवरइन्वेस्टमेंट और कम रिटर्न साल 2025 में AI स्टार्टअप्स में US VC फंडिंग का 2/3 हिस्सा गया, लेकिन MIT रिपोर्ट के अनुसार, जनरेटिव AI में $30-40 बिलियन निवेश के बावजूद 95% कंपनियां जीरो रिटर्न पा रही हैं। OpenAI जैसे प्लेयर्स अरबों डॉलर घाटे में हैं, जबकि राजस्व कम। Nvidia, OpenAI, Microsoft जैसी कंपनियां इस बूम की अगुवाई कर रही हैं, लेकिन असली रिटर्न न मिलने पर मार्केट क्रैश हो सकता है। इसके अलावा डेटा सेंटर और इंफ्रास्ट्रक्चर ओवरबिल्डिंग यानि Big Tech (Amazon, Meta, Microsoft) 2028 तक $3 ट्रिलियन AI इंफ्रा पर खर्च करेंगे, लेकिन अगर डिमांड न बढ़ी तो कैपेसिटी एक्स्ट्रा हो जाएगी। Morgan Stanley के अनुसार, डेट फाइनेंसिंग से $1 ट्रिलियन+ लोन रिस्क में। जो सबसे बड़ा फैक्टर बताय जा रहा है वो यह कि स्टॉक वैल्यूएशन का खतरा ये सबसे ज्यादा घातक साबित होगा। Nvidia का मार्केट कैप $5 ट्रिलियन+ पहुंचा, लेकिन AI स्टॉक्स S&P 500 के 30% से ज्यादा हैं – डोटकॉम बबल से ज्यादा कंसंट्रेशन। Sundar Pichai (Google CEO) ने कहा, “कोई कंपनी इम्यून नहीं, जिसमें हम भी शामिल हैं।” Jamie Dimon (JP Morgan) ने चेतावनी दी कि कुछ पैसा लॉस्ट होगा।
बाजारी जोखिम
AI का बबल फटने के अलावा कई दूसरे जोखिमों की बात कही जा रही है। AI कैपेक्स US GDP ग्रोथ का 1.1% दे रहा है। अगर बबल फूटा तो $20 ट्रिलियन+ अमेरिकी हाउसहोल्ड वेल्थ और $15 ट्रिलियन ग्लो। इसके जो आर्थिक प्रभाव प्रभाव होंगे उनमें बल वेल्थ वाइपआउट हो सकता है। OECD इसे US इकोनॉमी का की डाउनसाइड रिस्क मानता है। एडॉप्शन धीमा (केवल 8-12% US कंपनियां AI यूज कर रही हैं), एनर्जी क्राइसिस, चाइनीज कॉम्पिटिशन (DeepSeek जैसी), और रेगुलेशन। कुछ प्रेडिक्शन: लेट 2025 से 2027 तक वोलेटिलिटी पीक। डोटकॉम (2000) में भी इंटरनेट पर हाइप था, लेकिन आज कंपनियां प्रॉफिटेबल हैं और रेवेन्यू ज्यादा। फिर भी, अगर AI प्रॉमिस्ड प्रोडक्टिविटी न दे, तो क्रैश ज्यादा गहरा हो सकता है।
इसके लिए रहे बाजार तैयार
AI के बबल की तरह फटने पर बाजार को पहले से तैयार रहना होगा। डिफ्लेशन (धीमी गिरावट), AI से कुछ वैल्यू बचे (जैसे इंटरनेट बचा)। रिसेशन, बैंकिंग क्राइसिस (प्राइवेट क्रेडिट से), जॉब लॉस, और ग्लोबल इकोनॉमिक स्लोडाउन। AI रियल है, लेकिन ओवरहाइप्ड – “कुछ पैसा लॉस्ट होगा, लेकिन लॉन्ग टर्म में जीतेंगे।” यह बबल “सबसे बड़ा” हो सकता है, क्योंकि AI इकोनॉमी का इतना बड़ा हिस्सा बन गया है। निवेशकों को डाइवर्सिफाई करने की सलाह है।