आय से अधिक संपत्ति मामला शासन को

निगम अफसरों पर कसा शिकंजा
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आय से अधिक संपत्ति मामला शासन को, नगर निगम मेरठ के एक कर्मचारी की आय से अधिक संपत्ति का मामला शासन तक पहुंच गया है। इसकी जांच की बात कही जा रही है। शासन को अवगत कराया  गया है कि धर्मेंद्र कुमार उर्फ धर्मेश राजेश पुत्र गण पारसनाथ निवासी हरि सिंह पुर तहसील टंगड़ी जनपद आजमगढ़ को नगर निगम में 19 99 में सविता पर चालक के रूप में नियुक्त हुए उसके उपरांत अवैध रूप से धर्मेंद्र कुमार नगर निगम के अधिकारियों से सांठगांठ कर के आदेश दिनांक 26 मार्च 2006 को लिपिक के पद पर सूरजकुंड वाहन डिपो पर स्वयं को नियुक्त कर लिया गया जबकि गुप्त नियुक्ति शासनादेश संख्या 5839 /9 9 2052 में पब्लिक बयान में  26 जून 1992 के उपरांत शासनादेशों के अंतर्गत निगम में दैनिक वेतन भोगी संविदा वर्ग चार्ज श्रमिकों को सेवायोजन विनियमितीकरण आदि पर पूर्ण प्रतिबंध लगा है। तत्कालीन नगर आयुक्त ने इसको लेकर बताओ नोटिस थमाया था। आरोप है कि  साठगांठ करके  उसे दबा दिया गया।  दोनों भाई निर्बाध रूप से लगातार नगर निगम के वार्ड डिपो पर चार्ज करते चले आ रहे हैं। यह भी आरोप है कि उक्त ने  अवैध रूप से करोड़ों रुपए का तेल बेचकर सरकारी धन का दुरुपयोग करके अपने गृह जनपद अपने पिता पारसनाथ पुत्र अवधेश वह अपने चाचा फूल बदन गणेश विजय नारायण पुत्र अवधेश के नाम से तहसील संगठन में विभिन्न गांवों में भूमि खरीद कर अवैध संपत्ति बनायी है। धर्मेंद्र के नाम से ग्राम चुन्नू पार परगना व तहसील सगड़ी जनपद आजमगढ़ में जमीन लेकर शहनाई मैरिज हॉल फार्म हाउस लगभग 2015 में निर्माण कराया। धर्मेंद्र संपत्ति को दूसरे व्यक्ति के पक्ष में हस्तांतरण कर देता है। इसको लेकर शासन को साक्ष्य भी भेजे गए हैं। इन्होंने निगम के एक  ड्राइवर पर भी फायरिंग की थी। भावनपुर थाने में  दोनों पर  307 का भी मुकदमा लिखा गया था। इन पर 2 वर्ष पूर्व एक अग्रिम टाइम्स के संपादक को भी उसके मोबाइल पर जान से मारने की धमकी का अमित भूरा के नाम से मैसेज का भी आरोप है। कई अन्य मुकदमें इन पर चल रहे हैं। (बीके गुप्ता)

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