आमने सामने डीके व सिद्धारमैया

kabir Sharma
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भाजपा रख ही है हालात पर नजर, डोरे डालने की आशंका से इंकार नहीं, बड़ा सवाल क्या आएंगे डीके

नई दिल्ली/बैगलोर। कर्नाटक के घटनाक्रम पर भाजपा की नजर है। भाजपा का पूरा प्रयास होगा कि बिल्ली के नसीब से छीका टूट जाए लेकिन अभी तक ऐसी कोई सूरत नजर नहीं आ रही है। इस बीच सवाल पूछा जा रहा है कि क्या आएंगे डीके और जाएंगे सिद्धारमैया। इस सवाल से अभी कांग्रेस के बड़े नेता भी भाग रहे हैं। साल 2023 के विधानसभा चुनाव के बाद बने पावर-शेयरिंग एग्रीमेंट के तहत 2.5 साल बाद नेतृत्व परिवर्तन की अटकलें जोरों पर हैं। 20 नवंबर को सरकार के कार्यकाल के आधे समय पूरे होने के साथ ही यह विवाद चरम पर पहुंच गया है।

राहुल गांधी का डीके को मैसेज

शिवकुमार के समर्थक विधायक दिल्ली में डेरा डाले हैं, जबकि भाजपा इस का मजा ले रही है। क्या होगा अंतिम फैसला इसके लिए आने वाले दो दिन बेहद महत्वपूर्ण हैं। शिवकुमार के 140 विधायकों के दावे के बीच उनके समर्थक दिल्ली पहुंचे। वे सोनिया गांधी, राहुल गांधी और मल्लिकार्जुन खड़गे से मिले, शिवकुमार को सीएम बनाने की मांग की। एक विधायक ने दावा किया कि “शिवकुमार जल्द सीएम बनेंगे।” राहुल गांधी ने शिवकुमार को व्हाट्सऐप पर संदेश भेजा: “प्लीज वेट, आई विल कॉल यू… हम जल्द बात करेंगे।”

पार्टी की जीत में डीके अहम

आला कमान की बात करें तो वो भी मानते हैं कि डीके शिव कुमार का कर्नाटक विजय में बड़ा हाथ है। कांग्रेस की 2023 की जीत के बाद सिद्धारमैया को सीएम और शिवकुमार को डिप्टी सीएम बनाया गया। कथित तौर पर दोनों के बीच 2.5-2.5 साल का पावर-शेयरिंग फॉर्मूला था। अब आधा समय बीत चुका है, तो शिवकुमार कैंप का दबाव बढ़ गया है। शिवकुमार ने हाल ही में कहा कि वह सीएम बनना चाहते हैं, लेकिन पार्टी हाईकमान का फैसला मानेंगे। सिद्धारमैया ने स्पष्ट कहा कि अगर हाईकमान कहे, तो वह पूरा 5 साल का कार्यकाल पूरा करेंगे।

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